कानपुर के पांडु नगर की पीएनबी बैंक में सड़ गए 42 लाख रुपए के नोट : आरबीआई अधिकारियों ने चेकिंग के दौरान पकड़ा मामला, PNB के 4 अफसर सस्पेंड
पीएनबी पांडू नगर शाखा के ब्रांच मैनेजर सर्वेश श्रीवास्तव ने बताया, "मामले में जांच के लिए बनारस से जोनल टीम जांच के लिए आई है। जांच अभी चल रही है। हालांकि मामले में ब्रांच का कोई लेना देना नहीं है।
कानपुर के पांडु नगर की पंजाब नेशनल बैंक शाखा में रखी हुई करेंसी चेस्ट में 42 लाख रुपए के नोट सड़ गए। 3 महीने पहले इन नोटों को एक बक्से में भरकर जमीन पर रखा दिया गया था। इसी दौरान किसी वजह से बक्से में पानी चला गया। RBI अधिकारियों ने करेंसी चेस्ट की जांच करने पहुंचे तो मामले का खुलासा हुआ। इस मामले में वरिष्ठ प्रबंधक करेंसी चेस्ट देवी शंकर सहित 4 अफसरों को सस्पेंड किया गया है।
RBI के अफसरों ने 25 जुलाई से 29 जुलाई 2022 तक शाखा की करेंसी चेस्ट का निरीक्षण किया था। इसके बाद उन्होंने 14,74,500 रुपए कम होने और अधिकतम और न्यूनतम रकम में 10 लाख का अंतर होने की रिपोर्ट दी थी। साथ ही 10 रुपए के 79 बंडल और 20 रुपए के 49 बंडल खराब होने की जानकारी दी थी। बाद में गिनती कराई गई तो 42 लाख रुपए की करेंसी नोट के सीलन में गलने का खुलासा हुआ। करेंसी चेस्ट के इंचार्ज पवन चोपड़ा ने बताया- मैंने अभी हाल में ही चार्ज संभाला है। RBI के निरीक्षण में कुछ नोटें गली मिली। इसके बाद इस रकम को शून्य मान लिया है।
2 अफसरों ने जून और जुलाई में संभाला था चार्ज : सस्पेंड अधिकारियों में से दो अधिकारियों ने इसी साल जून और जुलाई में बैंक में चार्ज संभाला था। इनमें 6 जून 2022 को रिपोर्ट करने वाले प्रबंधक करेंसी चेस्ट आशा राम और जून 2022 में करेंसी चेस्ट जवाहर नगर, उन्नाव से ट्रांसफर होकर आए वरिष्ठ प्रबंधक भास्कर कुमार शामिल हैं।
नोटों की देखभाल न होने से सड़े नोट : करेंसी चेस्ट में नोटों को बक्सों में ही भरकर जगह-जगह रख दिया गया। बड़ी तिजोरी में नोट नहीं रखे गए। पांडु नगर चेस्ट करेंसी अंडर ग्राउंड है। यहां पर कंक्रीट से दीवार बनी है। सूत्रों ने बताया कि नया कैश आता रहा होगा और पुराने बक्से पीछे खिसकाए जाते रहे। ज्यादा समय हो जाने और जगह-जगह नमी होने की वजह से 42 लाख के नोट गल गए।
पीएनबी पांडू नगर शाखा के ब्रांच मैनेजर सर्वेश श्रीवास्तव ने बताया, "मामले में जांच के लिए बनारस से जोनल टीम जांच के लिए आई है। जांच अभी चल रही है। हालांकि मामले में ब्रांच का कोई लेना देना नहीं है।"