लखनऊ में मंच पर 20 मिनट प्रस्तुति देने के बाद परफॉर्मेंस के दौरान पखावज वादक दिनेश प्रसाद की मौत
दिनेश प्रसाद का जन्म मथुरा में 1 जून 1956 को हुआ था। इनके पिता पं. बाबू लाल मथुरा के पखावज वादक थे। पखावज वादन की शिक्षा उन्होंने अपने पिता और स्व. कुदऊ सिंह घराने से प्राप्त की थी। उनकी तीन बेटियां, एक बेटा और पत्नी कमलेश हैं। दो बेटियों की शादी हो चुकी है। वे दूरदर्शन समेत कई रेडियो चैनल पर भी रेगुलर परफॉर्म करते थे।
लखनऊ में परफॉर्मेंस के दौरान पखावज वादक दिनेश प्रसाद की मौत हो गई। वह बारादरी में प्रस्तुति दे रहे थे। मंच पर करीब 20 मिनट तक कार्यक्रम किया। इसके बाद अचानक बेहोश होकर गिर गए। साथी कलाकारों ने उनको सीपीआर दिया। लेकिन, कोई रिस्पांस नहीं मिला। इसके बाद तुरंत उनको केजीएमयू के कॉर्डियोलॉजी विभाग लेकर पहुंचे। वहां डॉक्टरों ने उनको मृत घोषित कर दिया। माना जा रहा है कि कॉर्डियक अरेस्ट से उनकी मौत हुई है।
यूपी संगीत नाटक अकादमी अवॉर्ड से सम्मानित दिनेश प्रसाद (68) लखनऊ में राजाजीपुरम में रहते थे। सोमवार दोपहर 3 बजे दिनेश प्रसाद कैसरबाग बारादरी में वादन कार्यक्रम कर रहे थे। तभी उनकी तबीयत बिगड़ गई। उन्होंने साथी से सीने में दर्द की शिकायत की। उसके चंद सेकंड बाद वह बेहोश होकर मंच पर गिर गए।
दिनेश प्रसाद के बेटे पीयूष ने बताया कि उनके पिता को पहले भी हार्ट अटैक आ चुका था। लेकिन वह पूरी तरह से स्टेबल थे। उन्हें कोई बड़ी समस्या नहीं थी। एक दिन पहले उन्होंने रिहर्सल भी किया था और कार्यक्रम के लिए वो सुबह ही घर से निकले थे।
कथक केंद्र में कार्यरत थे : संगीत नाटक अकादमी के सचिव तरुण राज ने बताया कि दिनेश प्रसाद कथक केंद्र में कार्यरत थे। उनके साथ काम कर चुके तबला वादक पार्था मुखर्जी ने बताया कि उनकी गिनती चंद पखावज वादकों में होती थी। उन्होंने पखावज वादन को आगे बढ़ाने का काम किया।
2015 में दिनेश प्रसाद को यूपी संगीत नाटक अकादमी अवार्ड मिला था। साल 1989 में यूपी संगीत नाटक अकादमी के कथक केंद्र में नौकरी मिलने के बाद मथुरा से लखनऊ आ गए थे। साल 2014 में वे वहां से रिटायर हो गए। अगले साल 2015 में उन्हें यूपी संगीत नाटक अकादमी अवार्ड से नवाजा गया।
दिनेश प्रसाद का जन्म मथुरा में 1 जून 1956 को हुआ था। इनके पिता पं. बाबू लाल मथुरा के पखावज वादक थे। पखावज वादन की शिक्षा उन्होंने अपने पिता और स्व. कुदऊ सिंह घराने से प्राप्त की थी। उनकी तीन बेटियां, एक बेटा और पत्नी कमलेश हैं। दो बेटियों की शादी हो चुकी है। वे दूरदर्शन समेत कई रेडियो चैनल पर भी रेगुलर परफॉर्म करते थे। लखनऊ और झांसी महोत्सव में भी सालाना उनका कार्यक्रम होता था।
वहीं, कई बार ज्यादा एक्साइटमेंट से भी कार्डियक अरेस्ट हो सकता हैं। किसी नॉर्मल इंसान को भी यह आ सकता है। कई बार ज्यादा एक्साइटमेंट होने के कारण 'एड एनर्जी ड्राइव' बढ़ जाती है। हार्ट कोलैप्स कर जाता है। हार्ट के मसल स्ट्रांग होने के कारण 'एड एनर्जी ड्राइव' के दौरान उनके मसल में सिकुड़न ज्यादा होने के केस भी सामने आए हैं। ऐसे समय में हार्ट का रिदम बिगड़ जाता है और कार्डियक अरेस्ट से अचानक मौत भी हो जाती है। |