नीलगिरि इंफ्रासिटी : तीन दिन में दर्ज 23 मुकदमों की फाइल आज ED को सौंपी जाएगी, वाराणसी में बनी SIT जुटा रही संपत्ति का ब्योरा, मालिकों की जब्त होगी संपत्ति

पुलिस कमिश्नर ने बताया कि नीलगिरि इंफ्रॉसिटी कंपनी के संचालकों की धोखाधड़ी के शिकार विदेशों में रहने वाले लोग भी हुए हैं। बुधवार की रात उन्हें कुवैत की रहने वाली अफरोज ने अपने दूतावास के माध्यम से ई-मेल भेज कर विकास और ऋतु के खिलाफ धोखाधड़ी का मुकदमा दर्ज करने की मांग की है। पुलिस कमिश्नर ने बताया कि अफरोज की तहरीर के आधार पर भी विकास और ऋतु के खिलाफ मुकदमा दर्ज कराया जाएगा।

नीलगिरि इंफ्रासिटी : तीन दिन में दर्ज 23 मुकदमों की फाइल आज ED को सौंपी जाएगी, वाराणसी में बनी SIT जुटा रही संपत्ति का ब्योरा, मालिकों की जब्त होगी संपत्ति
नीलगिरि कंपनी के चीफ मैनेजिंग डायरेक्टर (CMD) विकास सिंह, उनकी पत्नी मैनेजिंग डायरेक्टर (MD) ऋतु सिंह

धोखाधड़ी के मामले में फंसे नीलगिरि कंपनी के चीफ मैनेजिंग डायरेक्टर (CMD) विकास सिंह, उनकी पत्नी मैनेजिंग डायरेक्टर (MD) ऋतु सिंह और करीबियों पर पुलिस का शिकंजा कसता ही जा रहा है। बीते तीन दिनों में चेतगंज थाने में कुल 23 मुकदमे दर्ज हो चुके हैं। कंपनी ने विदेशों में रह रहे लोगों को भी ठगा है। एक पीड़ित कुवैत की रहने वाली है।

पुलिस ने विकास सिंह, उनकी पत्नी ऋतु सिंह की संपत्तियों को चिह्नित करना शुरू कर दिया है। दोनों की अचल संपत्ति को जल्द ही गैंगस्टर एक्ट के तहत जब्त किया जाएगा। उनके बैंक खाते भी फ्रीज कराए जाएंगे। पुलिस कमिश्नर ए सतीश गणेश द्वारा गठित SIT टीम जुटाए गए सभी सबूत आज प्रवर्तन निदेशालय (ED) से साझा किए जाने की संभावना है। इसके बाद ED अपनी जांच अलग से शुरू करेगी।

आरोपियों ने गोल्ड और जमीन में निवेश और टूर पैकेज के नाम पर 10 करोड़ से ज्यादा रकम हड़पी है। पुलिस कमिश्नर ए. सतीश गणेश ने एडीसीपी वरुणा जोन के नेतृत्व में SIT का गठन किया था। SIT में एसीपी चेतगंज, एसएचओ सिगरा और एसएचओ जैतपुरा को शामिल किया गया है।

11 चेक दिए थे, सभी बाउंस : चेतगंज थाने में विकास और ऋतु के खिलाफ 23वां मुकदमा गाजीपुर जिले के परतपुर निवासी आनंद कुमार ने दर्ज कराया है। आनंद ने बताया कि उन्होंने पड़ाव में 1300 वर्गफीट जमीन लेने के लिए 10 लाख 40 हजार रुपए में जून 2015 में विकास और ऋतु से सौदा तय किया था। 8 लाख एक हजार 666 रुपए एडवांस देकर उन्होंने बैनामा कराया था। विकास और ऋतु की करतूत की जब उन्हें जानकारी हुई तो वे अपना पैसा वापस मांगने लगे।

बीते अप्रैल से अगस्त के बीच विकास ने उन्हें 11 चेक दिए और वह सभी बाउंस हो गए। उन्होंने विकास को इस संबंध में बताया तो उसने धमकाया कि जो करना होगा, कर लेना। हमारे खिलाफ बहुत मुकदमे दर्ज हैं और आज तक कुछ हो नहीं पाया है। इसके साथ ही विकास और उसके 2 साथियों ने उनके साथी गाली देते हुए उन्हें जान से मारने की धमकी देकर भगा दिया था।

30 अगस्त को विकास और ऋतु सहित 3 लोग जेल भेजे गए थे, तब पुलिस ने ऋतु का फोटो जारी नहीं किया था।

 

5 मुकदमों में पुलिस ने लगा दी थी फाइनल रिपोर्ट: राजनीतिक गलियारों के साथ ही पुलिस और प्रशासन में विकास और ऋतु की पैठ का अंदाजा इसी से लगाया जा सकता है कि दोनों के खिलाफ पूर्व में दर्ज 5 मुकदमों में फाइनल रिपोर्ट (FR) लगा दी गई थी। यानी, पुलिस को दोनों के खिलाफ कोई आरोप साबित नहीं हुए थे। उन पांचों मुकदमों की फिर से विवेचना का आदेश पुलिस कमिश्नर ने दिया है। कहा है कि उन्हें यह भी बताया जाए कि पूर्व में विवेचकों को विकास और ऋतु के खिलाफ कार्रवाई के लिए कोई कोई साक्ष्य क्यों नहीं मिला था। उन्होंने पीड़ितों की बातों को सिरे से क्यों खारिज कर दिया।

रिपोर्ट के आधार पर सभी विवेचकों के खिलाफ कार्रवाई की जाएगी। पुलिस कमिश्नर ने बताया कि इसीलिए उन्होंने SIT का गठन किया है ताकि फ्रॉड कंपनी के संचालकों के खिलाफ दर्ज मुकदमों की जांच पारदर्शी और प्रभावी तरीके से हो सके।

विदेशों में रहने वाले भी हुए धोखाधड़ी के शिकार : पुलिस कमिश्नर ने बताया कि नीलगिरि इंफ्रॉसिटी कंपनी के संचालकों की धोखाधड़ी के शिकार विदेशों में रहने वाले लोग भी हुए हैं। बुधवार की रात उन्हें कुवैत की रहने वाली अफरोज ने अपने दूतावास के माध्यम से ई-मेल भेज कर विकास और ऋतु के खिलाफ धोखाधड़ी का मुकदमा दर्ज करने की मांग की है। पुलिस कमिश्नर ने बताया कि अफरोज की तहरीर के आधार पर भी विकास और ऋतु के खिलाफ मुकदमा दर्ज कराया जाएगा।

प्रभावी पैरवी करा कर दिलाएंगे कड़ी सजा : पुलिस कमिश्नर ए. सतीश गणेश ने गुरुवार को दैनिक भास्कर से कहा कि पुलिस नीलगिरि इंफ्रासिटी कंपनी के संचालकों के खिलाफ दर्ज मुकदमों में अदालत में जल्द आरोप पत्र दाखिल करेगी। इसके साथ ही इस पूरे प्रकरण में जो अन्य 5 नामजद हैं, वे भी जल्द ही सलाखों के पीछे होंगे। अदालत में मुकदमों की प्रभावी तरीके से पैरवी करके पुलिस लोगों के साथ फ्रॉड करने वालों को कड़ी से कड़ी सजा दिलाएगी।

करोड़ों की धोखाधड़ी के इस प्रकरण की जांच अन्य जो एजेंसियां भी सहयोग करेंगी, पुलिस उनका पूरा सहयोग करेगी। पुलिस अपनी कार्रवाई में कोई कसर नहीं छोड़ेगी। लोगों से अपील यही है कि वह ऐसे जालसाजों के झांसे में आने से बचें। लुभावने ऑफर के चक्कर में न फंसे। हमेशा देख-समझ कर और परख कर ही अपनी मेहनत की कमाई कहीं भी निवेश करें।